November 3, 2024

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Shraddha Paksh 2021 : जानिए किस दिन किया जा सकता हैं किस पितर का श्राद्ध !

Shraddha Paksh 2021 : जानिए किस दिन किया जा सकता हैं किस पितर का श्राद्ध !

20 सितंबर 2021, सोमवार को भाद्रपद मास की शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि से श्राद्ध शुरू हो चुके हैं जों कि 6 अक्टूबर 2021, बुधवार को आश्विन मास की कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि के साथ समाप्त होंगे। इन दिनों में पितरों के आत्मा की संतृप्ति के लिए भोग लगाते हुए आशीर्वाद पाने की कामना की जाती हैं। श्राद्ध में मृतक की दाग तिथि के दिन ही उसका श्राद्ध किया जाता हैं। लेकिन कई लोगों को उनके पितरों की दाग तिथि का ध्यान नहीं होता हैं। ऐसे में आज हम आपको बताने जा रहे हैं कि किस पितर का श्राद्ध किस दिन किया जाना चाहिए।

Shraddha Paksh 2021 : जानिए किस दिन किया जा सकता हैं किस पितर का श्राद्ध !

– पूर्णिमा को जिनका निधन हुआ है तो उनका श्राद्ध अष्टमी, द्वादशी या सर्वपितृ अमावस्या को भी किया जा सकता है। इसे प्रोष्ठपदी पूर्णिमा कहा जाता है।

– यदि उनका कोई पुत्र न हो तो प्रतिपदा को नाना का श्राद्ध किया जाता है।

– चतुर्थी या पंचमी तिथि में उनका श्राद्ध किया जाता है जिसकी मृत्यु गतवर्ष हुई है।

– जिन लोगों की जिस भी तिथि को मृत्य हुई हो उसका श्राद्ध आश्विन कृष्णपक्ष की उसी तिथि पर किया जाता है।

– सौभाग्यवती स्त्री, माता या जिन महिलाओं की मृत्यु की तिथि ज्ञात नहीं है उनका नवमी तिथि को श्राद्ध किया जाता है। इसे अविधवा और मातृ नवमी भी कहा गया है।

Shraddha Paksh 2021 : जानिए किस दिन किया जा सकता हैं किस पितर का श्राद्ध !

– एकादशी तिथि को संन्यास लेने वाले या संन्यासियों का श्राद्ध किया जाता है।

– जिनकी किसी दुर्घटना में, जल में डूबने, शस्त्रों के आघात या विषपान करने से हुई हो, उनका चतुर्दशी की तिथि में भी श्राद्ध किया जाना चाहिए।

– जिन बच्चों की जिस तिथि में मृत्यु हुई हो उस तिथि के अलावा त्रयोदशी तिथि को बच्चों का श्राद्ध किया जाता है।

– सर्वपितृ अमावस्या पर ज्ञात-अज्ञात सभी पितरों का श्राद्ध करने की परंपरा है। इसे पितृविसर्जनी अमावस्या, महालय समापन आदि नामों से जाना जाता है।

(Disclaimer: इस लेख में दी गई जानकारियां और सूचनाएं सामान्य मान्यताओं पर आधारित हैं। VisitorPlaces Team हिंदी इनकी पुष्टि नहीं करता है। इन पर अमल करने से पहले विशेषज्ञ से संपर्क जरुर करें।)